राजस्थान के आयुर्वेद विभाग में महत्वपूर्ण पदों पर भारी कमी देखने को मिली है। विभागीय आंकड़ों के अनुसार, विभिन्न श्रेणियों में खाली पदों की संख्या काफी चिंताजनक है।
खाली पदों का विवरण-
डॉक्टर: कुल 112 पदों में से 37 पद खाली।
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नर्स/कंपाउंडर: कुल 121 पदों में से 34 पद खाली।
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परिचारक: कुल 60 पदों में से 40 पद खाली।
इस आंकड़े से यह स्पष्ट होता है कि विशेषकर परिचारक और नर्सिंग स्टाफ में गंभीर कमी है, जो विभाग की दैनिक कार्यप्रणाली और मरीजों को मिलने वाली सेवाओं को प्रभावित कर सकती है।
प्रभाव और चुनौतियाँखाली पदों की संख्या बढ़ने से:
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अस्पताल और आयुर्वेदिक स्वास्थ्य केंद्रों में मरीजों को समय पर सेवाएँ देना कठिन हो जाता है।
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डॉक्टर और नर्सों पर अत्यधिक कार्यभार बढ़ जाता है।
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विभागीय योजनाओं और स्वास्थ्य शिविरों का संचालन प्रभावित हो सकता है।
विशेषज्ञों का कहना है कि स्वास्थ्य क्षेत्र में कर्मचारियों की कमी सेवा की गुणवत्ता और रोगियों की सुरक्षा दोनों पर असर डाल सकती है।
प्रशासन की प्रतिक्रियाआयुर्वेद विभाग के अधिकारियों ने कहा कि खाली पदों को भरने के लिए भर्ती प्रक्रिया और भर्ती अभियान जल्द शुरू किए जाएंगे। उन्होंने आश्वस्त किया कि मरीजों और स्वास्थ्य सेवाओं पर असर कम से कम हो, इसके लिए वैकल्पिक व्यवस्थाएँ की जा रही हैं।
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