दाद, खाज और खुजली जैसी त्वचा संबंधी समस्याएं न केवल असहनीय होती हैं, बल्कि बार-बार होने पर यह और भी कष्टदायक बन जाती हैं। बाजार में कई क्रीम और दवाएं उपलब्ध हैं, लेकिन कई बार इनसे राहत नहीं मिलती या फिर साइड इफेक्ट्स हो सकते हैं। ऐसे में एक देसी और प्राकृतिक उपाय बेहद असरदार साबित हो सकता है – अकमोनी या कंटकारी पौधा।
आयुर्वेद में इस कांटेदार पौधे का विशेष स्थान है। इसके एंटीसेप्टिक और एंटी-फंगल गुण त्वचा पर होने वाले संक्रमणों को जड़ से ठीक करने में मदद करते हैं।
यह पौधा कौन सा है?
यह पौधा आमतौर पर “अकमोनी”, “कंटकारी”, या “भटकटैया” के नाम से जाना जाता है। कांटेदार पत्तियों और छोटे बैंगनी फूलों वाला यह पौधा अक्सर खाली जमीन, खेतों या रास्तों के किनारे पाया जाता है। इसकी जड़ें, पत्तियां और फल औषधीय गुणों से भरपूर होते हैं।
कैसे करें इस्तेमाल?
1. पत्तियों का लेप तैयार करें:
- ताज़ी पत्तियों को धोकर पीस लें।
- इसमें थोड़ा हल्दी पाउडर और नारियल का तेल मिलाएं।
- इस मिश्रण को प्रभावित जगह पर दिन में दो बार लगाएं।
2. उबाल कर स्नान करें:
- 10-12 पत्तियों को पानी में उबालें।
- इस पानी से नहाएं या प्रभावित स्थान को धोएं।
- इससे खुजली और जलन में राहत मिलती है।
3. तेल बनाकर लगाएं:
- अकमोनी की सूखी पत्तियों को तिल या नारियल तेल में गर्म करें।
- जब पत्तियां कुरकुरी हो जाएं, तेल को छानकर बोतल में भर लें।
- रोज़ाना उस तेल को दाद या खुजली वाले स्थान पर लगाएं।
क्या रखें सावधानी?
- त्वचा पर पहले एक छोटे हिस्से पर प्रयोग कर लें, ताकि एलर्जी न हो।
- अगर समस्या अधिक पुरानी या गंभीर है, तो आयुर्वेदिक चिकित्सक की सलाह ज़रूर लें।
- साफ-सफाई का ध्यान रखें और टाइट कपड़ों से बचें।
प्राकृतिक और आयुर्वेदिक उपचारों की खास बात यह होती है कि ये बिना साइड इफेक्ट के शरीर को अंदर से ठीक करते हैं। अकमोनी या कंटकारी जैसा देसी पौधा दाद-खाज-खुजली जैसी परेशानियों में सस्ता, सरल और कारगर उपाय साबित हो सकता है। सही तरीके से इसका उपयोग करके आप त्वचा संबंधी समस्याओं से छुटकारा पा सकते हैं।
You may also like
Bareilly News: बरेली में तेंदुआ ने किसान पर हमला किया, वन विभाग ने पिंजरा और ड्रोन कैमरा लगवाया
विश्व हिंदू परिषद ने की बंगाल सरकार को बर्खास्त करने की मांग
सीएम भजनलाल शर्मा का सीकर दौरे में सुरक्षा की चूक ! दिखाए काले झंडे, काफिला में सांड भी घुसा
संजौली मस्जिद के मालिकाना हक के कागज और नक्शा नहीं दे पाया वक्फ बोर्ड, अब 3 मई तक का समय
पत्नी और बेटियों को जिंदा जलाने के मामले में दोषी पति को फांसी, सास को उम्रकैद, कटिहार कोर्ट ने सुनाया फैसला