हीरो मोटोकॉर्प की वित्तीय इकाई हीरो फिनकॉर्प (Hero FinCorp, HFCL) ने करीब $200 मिलियन (लगभग 1,670 करोड़ रुपये) का सिंडिकेटेड डॉलर लोन जुटाने की योजना बनाई है. इस प्रक्रिया का नेतृत्व DBS बैंक कर रहा है, जिसे इस डील के लिए अधिकृत किया गया है. इस बारे में जानकारी रखने वाले सूत्रों के अनुसार, कंपनी ने निवेशकों की दिलचस्पी परखने के लिए हाल ही में ताइपे में रोड शो आयोजित किया. हालांकि DBS बैंक और Hero FinCorp दोनों ने इस पर टिप्पणी करने से इनकार कर दिया है.यह फंडरेजिंग ऐसे समय में हो रही है जब Hero FinCorp का 3,668 करोड़ रुपये का IPO फिलहाल नियामक मंजूरी में देरी की वजह से अटका हुआ है.सेबी की ओर से कुछ नियम उल्लंघन की जांच की जा रही है, जिसकी वजह से IPO को हरी झंडी नहीं मिल पाई है. इस देरी ने कंपनी की पूंजी जुटाने की योजनाओं को धीमा कर दिया है, जिसके चलते अब कंपनी ने विदेशी लोन मार्केट का रुख किया है.सूत्रों के अनुसार, यह डॉलर लोन दो हिस्सों में स्ट्रक्चर किया जाएगा. एक की अवधि 5 साल और दूसरे की 3.25 साल होगी. यह कदम कंपनी के कर्ज वितरण कारोबार को मजबूती देने के उद्देश्य से उठाया गया है.लोन का मूल्य निर्धारण अभी तय नहीं किया गया है, लेकिन उद्योग जगत में इसे मौजूदा माहौल में वित्तीय विविधता लाने का प्रयास माना जा रहा है.FY25 में हीरो फिनकॉर्प के अलावा अन्य गैर-बैंकिंग वित्तीय संस्थानों (NBFCs) जैसे श्रीराम फाइनेंस, पीरामल फाइनेंस, मुथूट फाइनेंस और टाटा कैपिटल ने भी डॉलर बॉन्ड मार्केट का सहारा लिया था. उदाहरण के तौर पर, पीरामल फाइनेंस ने अक्टूबर 2024 में $150 मिलियन जुटाए थे, जिसमें 7.078% यील्ड और 3.32 साल की अवधि तय की गई थी.हीरो फिनकॉर्प के इस कदम से यह स्पष्ट है कि कंपनी वैश्विक फाइनेंसिंग विकल्पों को सक्रिय रूप से अपना रही है ताकि आईपीओ में देरी के बावजूद उसकी विकास योजनाएं प्रभावित न हों.(अस्वीकरण: विशेषज्ञों द्वारा दी गई सिफारिशें, सुझाव, विचार और राय उनके अपने हैं. ये इकोनॉमिक टाइम्स हिन्दी के विचारों का प्रतिनिधित्व नहीं करते हैं)
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